मार्क्सवादी कम्यूनिस्ट पार्टी एवं किसान सभा शोषित पीड़ित वर्ग के साथ मनाएगी काली दिवाली
काली दिवाली मनाने मजबूर ग्रामीण, शासन प्रशासन का संरक्षण तो नहीं भ्रष्टाचारियों शोषणकर्ताओं को

मार्क्सवादी कम्यूनिस्ट पार्टी एवं किसान सभा शोषित पीड़ित वर्ग के साथ मनाएगी काली दिवाली
काली दिवाली मनाने मजबूर ग्रामीण, शासन प्रशासन का संरक्षण तो नहीं भ्रष्टाचारियों शोषणकर्ताओं को
गाडरवारा। मोदी सरकार की किसान मजदूर जनविरोधी नीतियों के चलते कॉर्पोरेट पूंजीपति छोड़ हर क्षेत्र में बर्बादी ही बर्बादी हो रही है, भूमि अधिग्रहण बिल, बिजली बिल, श्रम कानूनों में संशोधन बिल जैसे जनविरोधी कॉर्पोरेट परस्त बिल लाकर हर क्षेत्र में बर्बादी ही बर्बादी हो रही है। नीचे की पंचायती राज सरकार से लेकर मोदी सरकार तक भ्रष्टाचार और शोषण को संरक्षण दिए हुए है।
मंत्री जी के विधानसभा क्षेत्र गाडरवारा में शासकीय हॉस्पिटल गाडरवारा के कर्मचारियों को विगत 4माह से पेमेंट नहीं दिया गया उल्टे उनको नौकरी से निकाला जा रहा है, बच्चो सहित अधिकारियों के सामने रोते गिड़गिड़ाते अपने खून पसीने का मेहनताना मांग रहे हैं, अधिकारी जांच का बहाना देकर टाल रहे हैं, उन्होंने तनख्वाह न मिलने पर 1नवंबर को आत्मदाह की चैतावनी दी है, शासन प्रशासन तत्काल उनकी समस्या हल करे।
जनपद पंचायत चीचली अंतर्गत आदिवासी पंचायत मोहपानी के ग्रामीण आज दीपावली के अवसर पर पंचायत में हुए भारी भ्रष्टाचार और अनियमितताओं की जांच की मांग को लेकर 31वे दिन निश्चित कालीन धरना पर बैठें हुए हैं आज दीपावली के दिन आम जन काली पट्टी बांधेंगे साथ ही धरना स्थल से लेकर पूरा ग्रामवासी घर घर काली पट्टी बांधकर विरोध प्रदर्शन करने मजबूर हो गए हैं।
ग्रामीण अपने धरना स्थल से 80किलोमीटर दूर जिला कलेक्ट्रेट तक भ्रष्टाचार की अर्थी लेकर पैदल चलकर कलेक्ट्रेट के सामने धरना देने के उद्देश्य से गए हुए थे, जिला प्रशासन द्वारा 5दिन के अन्दर जांच कर जांच रिपोर्ट जारी कर ग्रामीणों को देकर कार्यवाही का भरोसा दिया था, ग्रामीण जिला से वापिस आकर जांच होने तक पुनः धरना स्थल मोहपानि में अनिश्चितकालीन धरने पर बैठें हुए हैं । जिला प्रशासन द्वारा 5दिन नहीं 20दिन बीत जाने के बाबजूद न जांच का पता है न जांच रिपोर्ट का।
सत्तासीन भाजपा सरकार की क्या यही नीति है, भ्रष्टाचार को संरक्षण देने वाली है, प्रशासन और भ्रष्टाचारियों को उनका संरक्षण है क्या, ग्रामीणों द्वारा पूर्व में काली दिवाली मनाए जाने के ऐलान के बाबजूद जनहित की कार्यवाही न हो पाना कई सवाल पैदा करती है जैसे कि भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने वालों को भ्रष्टाचार को संरक्षण देने बाला शासन प्रशासन उन्हें चेलेंज दे रहा है।
मार्क्सवादी कम्यूनिस्ट पार्टी उनके आंदोलन का समर्थन करते हुए मांग करती हैं तत्काल जांच कर कार्यवाही की जावे अन्यथा अब जिम्मेवारी वाले नेताओ के पुतले दहन, ग्रामों में प्रवेश पर रोक लगाते हुए विरोध प्रदर्शन, आदी संवैधानिक तरीके से आंदोलन तेज किया जाएगा। जगदीश पटेल जिला सचिव माकपा देवेंद्र वर्मा, लीलाधर वर्मा उपाध्यक्ष किसान सभा