कैसे कहोगे सदा सुहागन रहो, जब पति को ही निपटा देंगी बेटियां

संवाददाता अवधेश चौकसे
सोनम रघुवंशी को राजा रघुवंशी की हत्या में मुख्य अभियुक्त बनाया गया है। सोनम के अलावा गिरफ्तार बाकी 4 में से तीन ने सोनम द्वारा सुपारी देने की बात कबूल कर ली है।
कुल मिलाकर, सोनम ने ही अपने पति की हत्या करवाई है। इस साजिश को अपने कथित प्रेमी राज कुशवाहा के साथ रचा।
इस केस ने दिमाग के सारे तंतु हिला दिए हैं। सोचिए, यह औरत कितने ठंडे खून की है। पति की हत्या के लिए ऊंचाई पर ले जा रही है और सास से इत्मीनान से बात कर रही है। बता रही है कि एकादशी का व्रत है। पापों का नाश करने वाली अपरा एकादशी का उपवास था। पापी औरत फलाहार में पति के प्राण ही लील गई।
हत्या में शामिल बाकी दो ऐन वक्त पर राजा को मारने से पीछे हटने लगे, तो इसने बीस लाख का लालच देकर “काम पूरा” करवाया। यहां तक कि वार से निढाल राजा को खाई में धक्का भी दिया। सबूत मिटाये और निकल पड़ी।
बेगैरत औरत, उस शख्स को मारने की साजिश कर अंजाम तक पहुंचा सकती है, जो तुम्हारे साथ जीना चाहता था। बस अपने ढोंगी परिवार के खिलाफ जाकर इस शादी से मुकर नहीं सकती थीं, क्योंकि बाप हार्ट पेशेंट है। अब जो यह कांड किया, तो तुम्हारा बाप कैसे झेल पा रहा है।
हत्यारिन बेटी से बेहतर तो प्रेम में भागी बेटी बनने को चुनती, यदि वाकई फिक्र होती तुम्हें।
तुमको किसी की फिक्र कभी नहीं रही। न पिता, न समाज, न संस्कार, ना ही वो “प्रेमी”। यदि “प्रेम” होता, तो उसकी फिक्र करती। अपराधी न बना देती। परिवार से विद्रोह कर उसके साथ भाग जाती। प्लानर तो गजब की हो और यह साबित कर चुकी हो।
खैर, एक जान ले ली है और पांच परिवार को तबाह कर चुकी हो। ढोंग में जीती आई और “अच्छी बेटी” का लाबादा पहन कर घिनौना चेहरा छिपाती रही।
तुम और तुम जैसी अन्य पति हंताओं ने पूरी स्त्री जाति को कटघरे में खड़ा कर दिया है। लोग अनर्गल प्रलाप में जुट चुके हैं।
इन्हें बिलकुल भी सोचने की फुरसत नहीं कि यह “रेयरेस्ट ऑफ रेयर” केस है। अपराध जेंडर बायस नहीं होता और ना ही इन इक्का-दुक्का “नीच” औरतों की वजह से समाज-संस्कार दरकने वाला है। हां, कुछ दिन हाय-तौबा जरूर मचेगा। फिर सब शांत।
इससे भी बड़ी चिंता तुम्हारी प्रेग्नेंसी की खबरों को लेकर है। अभी तो स्पष्ट नहीं, लेकिन एक वीक बाद सब क्लीयर हो ही जाएगा। अब यदि तुम प्रेग्नेंट हुईं, तो नया बवाल “बच्चा किसका है” को लेकर मचेगा।